निरमंड (एकता काश्यप):मंडी और कुल्लू ज़िला के आराध्य देवता भूमासी महादेव करीब डेढ़ दशकों के बाद निरमंड क्षेत्र के ढऊलगढ़ की यात्रा करने के बाद वहां से वीरों की शक्ति अर्जित कर आज भगवान परशुराम व माता अंबिका की पवित्र नगरी छोटी काशी निरमंड पहुंचे।यहां पहुंचने पर निरमंड नगर वासियों व मंदिर कमेटी द्वारा उनका व उनके साथ आए हुए देवलुओं का भव्य स्वागत किया गया।
भूमासी महादेव देवता के कुल पुरोहित गोविंद लाल शर्मा, कारदार वाले राम,नवल किशोर,रतन दास व देवता के गुर अनूप राम ने बताया कि करीब डेढ़ दशकों के बाद देवता भूमासी के आदेशों पर यह धार्मिक यात्रा की जा रही है,जो जलोड़ी डीम, लढागी, इश्वा होते हुए चौथे दिन ढाऊलगढ़ पहुंची तथा वहां पर पूरे विधि विधान के साथ पूजा अर्चना करने के बाद देवता साहब वीरों की शक्तियां प्राप्त कर आज वापसी पर छोटी काशी निरमंड पहुंचे हैं,उन्होंने बताया कि निरमंड में आज 14 वर्षों के बाद माता अंबिका से मिलकर देवता साहब भाव विभोर हो गए।मंदिर कमेटी व निरमंड नगर वासियों ने भी देवता साहब को भाव पूर्ण विदाई देकर उन्हें दोबारा यहां आने का निमंत्रण दिया।मंदिर कमेटी द्वारा देवलुयों के रहने व खाने की पूरी व्यवस्था की गई थी। इस यात्रा का आज रात का पड़ाव निरमंड के कोयल गांव में कोयला देवी के मंदिर में रहेगा।इसके उपरांत देहुरी,थाच रंडल,देलनू होते हुए देवता साहब वापिस अपनी कोठी गाड़ा गुशेणी पहुंचेगे। जहां पर यात्रा समाप्ति के उपलक्ष में एक विशाल भंडारे का आयोजन किया जाएगा।