शिमला। न्यूज व्यूज पोस्ट।
हिमाचल प्रदेश में सरकारी स्कूलों की शिक्षा प्रणाली को मजबूत करने के लिए राज्य सरकार ने बड़ा कदम उठाया है। शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने घोषणा की है कि 2,699 शिक्षकों की भर्ती जल्द की जाएगी। इसमें टीजीटी (Trained Graduate Teacher) के 937 और जेबीटी (Junior Basic Teacher) के 1,762 पदों को सीधी भर्ती के माध्यम से भरा जाएगा।
शिक्षकों की भर्ती से सुधरेगा सरकारी स्कूलों का हाल
सरकारी स्कूलों में शिक्षकों की कमी को देखते हुए यह भर्ती प्रक्रिया शिक्षा क्षेत्र में क्रांतिकारी बदलाव ला सकती है। खासकर ग्रामीण इलाकों में, जहां अध्यापकों की कमी के कारण शिक्षा स्तर प्रभावित हो रहा था, अब इस भर्ती से स्थिति में सुधार होगा।
राजीव गांधी डे-बोर्डिंग स्कूल: शिक्षा में नया प्रयोग
राज्य सरकार शिक्षा को नई ऊंचाइयों तक पहुंचाने के लिए हर विधानसभा क्षेत्र में राजीव गांधी डे-बोर्डिंग स्कूल खोलने जा रही है। इन स्कूलों में आधुनिक सुविधाएं और गुणवत्तापूर्ण शिक्षा एक ही छत के नीचे उपलब्ध कराई जाएंगी। इससे सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले छात्रों को निजी स्कूलों की तरह बेहतर वातावरण मिलेगा और वे आत्मनिर्भर बन सकेंगे।
83% साक्षरता दर के साथ हिमाचल बना शिक्षा का अग्रणी राज्य
हिमाचल प्रदेश की साक्षरता दर 83% से अधिक पहुंच चुकी है, जबकि 1971 में यह मात्र 7% थी। यह सरकार के सतत प्रयासों का ही नतीजा है कि आज हिमाचल शिक्षा के क्षेत्र में देश के अग्रणी राज्यों में शामिल है।
बजट का 20% शिक्षा के लिए: सरकार की प्राथमिकता स्पष्ट
राज्य सरकार ने अपने कुल बजट का 20% हिस्सा शिक्षा क्षेत्र के लिए आवंटित किया है, जिससे यह साफ हो जाता है कि शिक्षा सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता है। इससे स्कूलों में बुनियादी ढांचे को मजबूत करने और गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रदान करने में मदद मिलेगी।
निष्कर्ष
2,699 शिक्षकों की यह भर्ती न केवल रोजगार के नए अवसर प्रदान करेगी, बल्कि सरकारी स्कूलों में शिक्षा की गुणवत्ता को भी नई दिशा देगी। यह कदम राज्य में शिक्षा सुधार की दिशा में एक बड़ा परिवर्तन साबित हो सकता है। सरकार का लक्ष्य है कि हर छात्र को बेहतर शिक्षा मिले और हिमाचल प्रदेश देश के शिक्षा मानचित्र पर अपनी अलग पहचान बनाए।