रिकांगपिओ 21 अप्रैल । न्यूज़ व्यूज पोस्ट—
किन्नौर जिला विधिक सेवा प्राधिकरण द्वारा आज कल्पा विकास खण्ड की शुदारंग ग्राम पंचायत में विधिक साक्षरता शिविर का आयोजन किया गया जिसकी अध्यक्षता सचिव, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण किन्नौर निशांत वर्मा ने की। उन्होंने लोगों को जागरूक करते हुए कहा कि विधिक साक्षरता शिविरों के आयोजन का मुख्य उद्देश्य ग्रामीणों को उनके अधिकारों व कत्र्तव्यों के साथ-साथ कानूनी तौर पर साक्षर बनाना है।
निशांत वर्मा ने इस अवसर पर लोगों को बौद्धिक सम्पदा अधिकार के बारे में जागरूक करते हुए बताया कि हर वर्ष 26 अप्रैल को राष्ट्रीय बौद्धिक सम्पदा अधिकार दिवस मनाया जाता है जिसका उद्देश्य लोगों को उनकी निजी सम्पदा के अधिकारों के बारे में जागरूक करवाना है। उन्होंने कहा इस अधिकार के तहत किसी भी व्यक्ति या संस्था द्वारा मूल रूप से बनाई गई वस्तु के पेटेन्ट राईटस, काॅपी राईटस व ट्रेडमाॅर्क राईटस को सुरिक्षत रखना है ताकि किसी अन्य व्यक्ति या संस्था द्वारा मूल रूप से बनाई गई वस्तु की प्रतिलिपि न बनाई जा सके।
उन्होंने प्राधिकरण के सौजन्य से समाज के विभिन्न वर्गों को प्रदान की जा रही निःशुल्क कानूनी सहायता के बारे में विस्तृत जानकारी दी। उन्होंने कहा कि किसी भी व्यक्ति की आर्थिक स्थिति कमजोर होने के कारण वह न्याय से वंचित न रहे इसी उद्देश्य के दृष्टिगत निःशुल्क कानूनी सहायता का प्रावधान किया गया है। उन्होंने बताया कि ऐसे व्यक्ति जो आर्थिक दृष्टि से गरीब, पिछड़े व कमजोर वर्ग (अनुसूचित जाति/जनजाति), महिलाएं, असहाय, नाबालिग बच्चे, ऐसी महिलाएं व बुजुर्ग व्यक्ति जिनका कोई सहारा नहीं है तथा जिन्हें बुढ़ापे में अकेला छोड़ दिया जाता है को निःशुल्क कानूनी सहायता प्रदान की जाती है।
उन्होंने कहा कि हिमाचल प्रदेश राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण ऐसे व्यक्तियों को निःशुल्क कानूनी सहायता, कानूनी सलाह व कानूनी शिक्षा प्रदान करने के लिए प्रयासरत है। उन्होंने बताया कि नालस की ऐप https://nalsa.gov.in व पत्राचार के माध्यम से व्यक्ति अपनी शिकायत दर्ज कर निःशुल्क कानूनी सहायता प्राप्त कर सकता है।
शिविर में शुदारंग ग्राम पंचायत के प्रधान दलीप कुमार सहित अन्य ग्रामवासी उपस्थित थे।