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बागा सराहन बशलेउ जोत बठाड़ सड़क मुख्यमंत्री की घोषणा मात्र ही रह गई”

“शिमला / न्यूज व्यूज पोस्ट /

हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री ने 25 जनवरी 2018 को पूर्ण राज्य दिवस के उपलक्ष्य पर उपमंडल मुख्यालय आनी में घोषणा की थी कि बागा सराहन से बठाड( बंजार) तक के लिए वशलेऊ जोत होकर सड़क निर्माण का कार्य अति शीघ्र किया जाएगा।इस सड़क के बनने से जहां पर्यटकों को सुबिधाये मिलनी थी वही निरमंड क्षेत्र के लोगो को मुख्यालय कुल्लू पहुँचने में 100 किलोमीटर की दुरी कम होने से पैसों और समय मे भी बचत होनी थी लेकिन
सरकार का कार्यकाल पूरा हुआ घोषणा केवल घोषणा मात्र ही रह गई। इससे स्थानीय लोगों में भाजपा के प्रति नाराजगी है।
गौरतलब है कि अंग्रेजी शासन काल में बठाड तहसील बंजार से रामपुर के जगात खाना तक खच्चर मार्ग था। जिसका मरम्मत कार्य हर वर्ष लोक निर्माण विभाग करता रहा है‌। क्षेत्र के लोगो का कहना है इस सड़क मार्ग पर कुनश के बड़े-बड़े पेड़ लोक निर्माण विभाग द्वारा उस समय लगाए गए थे, जो कई जगह अभी भी मौजूद हैं। परंतु लोगों ने उन पेड़ों को भी काटकर कब्जा कर लिया है। कई सालों पहले से इस सड़क मार्ग को लोक निर्माण विभाग ने अपने हाल पर छोड़ दिया है। लोग विभाग के इस उदासीन रवैया से काफी खफा है। क्षेत्र के लोगो का कहना है
बागा सराहन से बठाड तक का रास्ता वाया वशलेऊ जोत केवल 10 मील का है ।जिस पर विभाग ने अभी तक डीपीआर तक बनाना उचित नहीं समझा है। अगर इसी मार्ग को थोड़ा-थोड़ा दुरुस्त किया जाए तो छोटी गाड़ियां बंजार के बठाड तक पंहुच सकती हैं ‌।लोगों का यह भी कहना है कि भाजपा तथा कांग्रेस सरकारें आज तक लोगों को वोट के लिए छलती रही है तथा क्षेत्र का प्रतिनिधित्व करने वाले विधायक भी दोनों पार्टियों के निष्क्रिय साबित हुए हैं‌। उन का कहना है श्रीखंड महादेव तथा बागा सराहन इस क्षेत्र के दो रमणीक स्थल है। दोनों स्थलों को पर्यटन की दृष्टि से विकसित करना प्राथमिकता होनी चाहिए थी । जिससे न केवल स्थानीय लोगों को रोजगार मिलेगा अपितु इस घाटी के विकास में भी चार चांद लग जाएंगे। बंजार की ओर से बशलेऊ जोत तक हिमालयन ग्रेट नेशनल पार्क का क्षेत्र है। जहां पर पर्यटन की अपार संभावनाएं हैं

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