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सड़क दुर्घटना में पीड़ित की करो मदद, पाओ पांच हजार का इनाम

रामपुर बुशहर। विशेषर नेगी।

क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी कार्यालय रामपुर द्वारा आज स्थानीय स्कूलों में छात्र-छात्राओं को सड़क सुरक्षा नियमों का दिया गया ज्ञान। इस दौरान बताया कि एक अच्छे वाहन चालक के क्या होने चाहिए गुण। सड़क दुर्घटना की स्थिति में गोल्डन आवर्ज में कैसे किसी पीड़ित की की जानी चाहिए मदद और दुर्घटना के दौरान घायल व्यक्ति को मदद करने पर किस तरह से सरकार प्रोत्साहन एवं इनाम के रूप में दी रही है राशि । इस का भी दिया ज्ञान। क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी ने बताया स्कूली बच्चों में जागरूकता लाने से जल्द अधिक से अधिक एवं आम लोगों तक सड़क सुरक्षा नियमों की पहुंच सकती है जानकारी।

शिमला जिला के रामपुर बुशहर में आज क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी कार्यालय द्वारा सड़क सुरक्षा नियमों की जानकारी के लिए स्कूलों में जागरूकता शिविर लगाया गया। इस दौरान रामपुर के पदम वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय एवं प्रधानमंत्री उत्कृष्ट कन्या वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय के छात्र छात्राओं को सड़क सुरक्षा एवं एक अच्छे सजग वाहन चालक बनने की शपथ भी दिलाई गई । बताया गया कि एक अच्छा वाहन चालक को सड़क पर चलते हुए किन बातों का ध्यान रखना होता है । उन्होंने बताया कि वाहन चलाते हुए फोन का इस्तेमाल बिल्कुल ना करें। सड़क चिन्ह और संकेत की जानकारी वाहन चालक को पूर्ण रूप से होना चाहिए। सड़क दुर्घटना में सड़क पर पड़े पीड़ित की मदद त्वरित कैसे की जा सकती है। मोटर वाहन अधिनियम 1988 की धारा 134 क एक को सम्मिलित कर मदद करने वाले व्यक्ति को प्रोत्साहित करने के लिए 5000 तक पुरस्कार राशि राशि दी जा रही है। उन्होंने बताया कि पहले सड़क पर दुर्घटना का शिकार व्यक्ति की मदद के लिए कोई आगे नहीं आता था। क्योंकि कानूनी पेचीदगियों में कोई फंसना नहीं चाहता। लेकिन सर्वोच्च न्यायालय के निर्देश के बाद अब मदद करने वाले व्यक्ति को गवाही देने या चिकित्सालय में रुकने के लिए बाध्य नहीं किया जा सकता। उन्होंने बताया कि इसीलिए राष्ट्रीय ,राज्य, जिला, एवं उप मंडल स्तर तक रोड सेफ्टी सेल का गठन कर 5 विभागों के अधिकारियों को इसमें सम्मिलित किया गया है।उन्होंने बताया कि वाहन चलते हुए हेलमेट का आवश्यक प्रयोग करना चाहिए। नाबालिक बच्चों को वाहन चलाने न दे।

क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी जसपाल सिंह नेगी ने बताया वर्ष 2017 से विभिन्न स्तरों पर पांच विभागों के समन्वय से रोड सेफ्टी सेल का गठन किया गया है। इस दौरान सड़क संकट के समय देवदूत यानी नेक व्यक्ति के बारे में भी जानकारी दी, कि कैसे किसी दुर्घटना की स्थिति में सड़क पर पड़े व्यक्ति को गोल्डन अवार्ड में मदद की जा सकती है। मदद करने वाले व्यक्ति को बयान देने या अन्य पेचीदगियों से गुजरने के लिए बाध्य नहीं किया जा सकता। उन्होंने बताया कि स्कूली बच्चों को सड़क सुरक्षा के नियमों के बारे में जानकारी दी गई क्योंकि अक्सर दुर्घटनाएं 18 से 35 वर्ष के युवा पाए जाते है।

स्कूली छात्रा मन्नत भूषण ने बताया कि आज उनके स्कूल में क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी आए थे। उन्हें सड़क सुरक्षा के बारे में बताया की गाड़ी कैसे चलानी चाहिए और किस तरह नियमों का पालन करना चाहिए। अगर कोई सड़क दुर्घटना में घायल हो जाता है तो उसकी कैसे मदद की जा सकती है । वह इन जानकारियों को घर समाज तक फैलने का प्रयास करेगी।

रामपुर पदम वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय के छात्र रोहित कश्यप ने बताया कि आज उन के स्कूल में आरटीओ रामपुर कार्यालय के द्वारा सड़क सुरक्षा नियमों के बारे में जानकारी दी गई। बताया गया सड़क पर कोई घायल व्यक्ति पाया जाता तो तुरंत मदद की जानी चाहिए। सरकार की ओर से ऐसे मददगार व्यक्ति को प्रोत्साहन राशि भी दी जा रही है।

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